Tuesday, October 16, 2018

शारदीय नवरात्रि 2018: ये है नवरात्रि पूजा का शुभ मुहूर्त, कलश स्थापना और पूजा विधि


शारदीय नवरात्रि 2018 10 अक्टूबर से आरम्भ हो 19 अक्टूबर 2018 तक चलेंगे। नवरात्रि में मां भगवती की उपासना का फल करोड़ो गुना मिलता है इसलिए यह बहुत जरुरी है कि मां की पूजा में किसी प्रकार की कोई कमी न आएं। जिससे आपकी आराधना का फल आपको न मिल पाएं। ऐसे में व्रती को पूजन की सम्पूर्ण विधि का ज्ञान होना चाहिए। आइए जानते है क्या कलश स्थापना का नवरात्रि कलश स्थापना का शुभ मुहूर्त, नवरात्रि पूजन सामग्री और नवरात्रि पूजन विधि...




नवरात्रि 2018 में कलश स्थापना का शुभ मुहूर्त

10 अक्टूबर यानी पहले नवरात्रे में कलश स्थापित करने का शुभ मुहूर्त सुबह 7:45 तक ही है। लेकिन सुबह 11:36 से दोपहर 12:24 तक भी पूजा व कलश स्थापना की जा सकती है क्योकि इस समय अभिजीत मुहूर्त लग रहा है। नवरात्रि पूजन सामग्री- माता रानी की पूजा में निम्न सामग्री को इस्तेमाल करें। ध्यान रखें इनमें से कोई भी छूटना नहीं चाहिए।


नवरात्रि पूजा सामग्री-

चावल, सुपारी, रोली, मौली, जौ, सुगन्धित पुष्प, केसर, सिन्दूर, लौंग, इलायची, पान, सिंगार सामग्री, दूध, दही, गंगाजल, शहद, शक्कर, शुद्घ घी, वस्त्र, आभूषण, बिल्ब पत्र, यज्ञोपवीत, मिट्टी का कलश, मिट्टी का पात्र, दूर्वा, इत्र, चन्दन, चौकी, लाल वस्त्र, धूप, दीप, फूल, नैवेध, अबीर, गुलाल, स्वच्छ मिट्टी, थाली, कटोरी, जल, ताम्र कलश, रूई, नारियल आदि।


नवरात्रि पूजा विधि-

पहले पूर्व दिशा में मुख करके मां दुर्गा की चौकी पर लाल वस्त्र बिछायें। मां दुर्गा के बाईं ओर सफेद वस्त्र बिछा कर उस पर चावल के नौ कोष्ठक, नवग्रह एवं लाल वस्त्र पर गेहूँ के सोलह कोष्ठक षौडशामृत के बनाये। एक मिट्टी के कलश पर स्वास्तिक बना कर उसके गले में मौली बांध कर उसके नीचे गेहूं या चावल डाल कर रखें। उसके बाद उस पर नारियल भी रखें। 
शुद्ध घी का दीपक जलाएं और मिट्टी के पात्र में मिट्टी डालकर हल्का सा गीला करके उसमें जौ के दाने डालें, उसे चौकी के बाईं तरफ कलश के पास स्थापित करें।
बायें हाथ में जल लेकर दायें हाथ से स्वयं को पवित्र करें और बार-बार प्रणाम करें। उसके बाद दीपक जलायें एवं दुर्गा पूजन का संकल्प लेकर पूजा आरंभ करें। इस तरह अपने नवरात्र व्रत की शुरुआत करें।
नौ दिनों की तपस्या के साथ फल प्राप्ति के लिए नियमों का पालन करना चाहिए। नवरात्रि के व्रत और उपवास के साथ पूजा में कुछ खास बातों का ध्यान रखें। इसके अलावा नौ दिनों में क्या करें और क्या न करें इसका भी ध्यान रखा जाना चाहिए। पूरे विधि-विधान से पूजा करने पर ही देवी की कृपा मिलती है।

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2 comments:

  1. Rahukaal or Rahukalam is considered most inauspicious time of the whole day Rahu Kalam Time in Your City.
    Our Rahu Kaal below is accurate Rahu Kalam Time in Your City Rahu Kaal calculated for your City.

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